कोडरमा के झुमरीतिलैया में हिट एंड रन कानून के खिलाफ निकला विरोध मार्च, वाहन चालकों की हड़ताल का भी दिखा व्यापक असर

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Koderma: ड्राइवरों के लिए बना नया काला कानून के खिलाफ तीन दिवसीय हड़ताल का कोडरमा जिला में व्यापक असर देखा जा रहा है. सड़कों पर बड़ी गाड़ियां बस, ट्रक, टेम्पो जीप, सवारी गाड़ी व ऑटो के नहीं चलने से सड़कों पर सन्नाटा छाया हुआ है. एक जगह से दूसरी जगह जाने के लिए यात्री परेशान दिखे. मालूम हो कि अब रोड एक्सिडेंट करने वाले ड्राइवर्स को 10 साल तक की सजा का प्रावधान किया गया है. यही वजह है कि नए साल के पहले दिन से ही ट्रकों और रोडवेज बसों तथा टेम्पो के पहिए खड़े हो गए हैं और ट्रक चालक जबरदस्त विरोध कर रहे हैं.

हिट एण्ड रण एक्ट के खिलाफ ऑल इंडिया रोड ट्रांसपोर्ट वर्कर्स फेडरेशन एवं सीटू से सम्बद्ध झारखंड राज्य परिवहन मजदूर यूनियन के बैनर तले मंगलवार को बस, ट्रक व टेम्पो चालकों ने झुमरीतिलैया में विरोध मार्च निकाल विरोध सभा का आयोजन किया. इससे पूर्व सरकारी बस स्टैंड से विरोध मार्च निकाला गया जो ओवरब्रिज, झंडा चौक होते हुए स्मार्ट बाजार स्थित टैम्पो स्टैंड पहुंचकर सभा में तब्दील हो गया. जुलूस का नेतृत्व सीटू नेता प्रेम प्रकाश, ऑटो चालक संघ के अध्यक्ष मो० रफीक और बस एशोसियेशन के प्रमोद कुमार यादव ने किया. जुलूस में काला कानून वापस लो, गृहमंत्री अमित साह मुर्दाबाद, मोदी सरकार होश में आओ, तानाशाही मुर्दाबाद आदि नारे लगाए जा रहे थे.

सभा को संबोधित करते हुए सीटू के राज्य सचिव संजय पासवान ने कहा कि कोई भी बस या ट्रक ड्राइवर जान बूझकर एक्सिडेंट नहीं करता है. दुर्घटना अचानक होती है और ड्राइवर मौके से इसलिए भागते हैं क्योंकि खतरा रहता है कि भीड़ उन्हें मार डालेगी और दुर्घटना के बाद वे घायलों को हॉस्पिटल भी नहीं पहुंचा पाते हैं। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार के द्वारा लाया गया यह काला कानून ड्राइवरों के लिए मौत का फरमान है. दुर्घटना होने पर ड्राइवर पर कार्रवाई होने के लिए पहले से जो बना कानून है, वह आज भी प्रासंगिक है. जो मोटर वाहन अधिनियम की धारा 161 में निहित है. जिसमें मोटर वाहन से एक्सीडेंट को परिभाषित किया गया है.

केन्द्र सरकार के द्वारा बनाया गया काला कानून पुराने कानून के बिल्कुल विपरीत है. वर्तमान हिट एण्ड रण कानून के अनुसार एक्सीडेंट होने पर घायल व्यक्ति को अस्पताल नहीं ले जाता है तो ड्राइवर को दस साल की सजा या सात लाख रुपये का जुर्माना का प्रावधान किया गया है. जो सरासर अन्याय है. पहले जो कानून था, उसमें दुर्घटना पर मौत होने पर 304 ए लगता था, जिसमें दो साल की सजा का प्रावधान था. सीटू नेता प्रेम प्रकाश ने सरकार से इस काले कानून को हर हाल में वापस लेने की मांग करते हुए कहा कि कोहरे की वजह से एक्सिडेंट हो जाता है तो भी ड्राइवर को 10 साल की सजा हो जाएगी. यह बिल्कुल ही गलत है. सभा की अध्यक्षता उदय द्विवेदी ने किया. कार्यक्रम में कर्मचारी नेता दिनेश रविदास, चरणजीत सिहं, मो० रफीक, चंदन कुमार सिंह, मो० जाहिद, विजय शर्मा, शहादत अंसारी, मो सागीर, प्रदीप कुमार, प्रमोद कुमार यादव, अजय यादव, संजय सोनाली, अमर प्रसाद गुप्ता सहित दर्जनों चालक मौजूद थे.

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