पशुओं के लिए राज्य में पहला अस्पताल शुरू, 24X7 मिलेगी सुविधा, वेटनरी यूनिवर्सिटी की स्थापना की भी तैयारी

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Ranchi: कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री बादल पत्रलेख के मुताबिक मुख्यमंत्री के निर्देश पर राज्य में वेटरिनरी यूनिवर्सिटी की स्थापना होगी. इसके लिए पहल जारी है. हेसाग स्थित पशुपालन भवन में सोमवार को आदर्श हॉस्पिटल एवं वीडियो कॉल बेस्ड टेलीमेडिसीन सेंटर के उद्घाटन के दौरान उन्होंने बताया कि विभाग ने बजट उपबंध भी कर लिया है. साथ ही कहा कि सरकार में सिस्टम से लेकर रिस्पॉन्स तक सब कुछ बदल रहा है. विभाग को हमने संवारने का काम किया है. राज्य में ऐसे पशु चिकित्सालय की सख्त जरूरत महसूस की जा रही थी. अब इसका शुभारंभ कर दिया गया है. मौके पर कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग के सचिव अबू बकर सिद्दीख, पशुपालन विभाग के निदेशक आदित्य रंजन, गो सेवा आयोग के अध्यक्ष राजीव रंजन, उपाध्यक्ष राजीव गिरी, कृषि निदेशक संजय सिन्हा सहित कई पदाधिकारी एवं पशु चिकित्सक व पशु सखी और पशुपालक भी मौजूद थे.

सभी पशु अस्पतालों के कायाकल्प की तैयारी

बादल ने कहा कि पिछले दिनों उन्होंने केरल का दौरा किया था. इससे ये महसूस हुआ कि कृषि पशुपालन के क्षेत्र में हम काफी पीछे हैं. सवाल तो यह भी है कि आखिर कब तक हम केरल का उदाहरण देते रहेंगे. हमारे यहां प्रतिभाएं हैं, न्यूनतम संसाधनों में बेहतर काम करने वाले पशु चिकित्सक हैं जो उदाहरण प्रस्तुत कर रहे हैं. ये हमारे लिए बड़ी बात है. राज्य के सभी प्रखंडों और 23 जिलों में अस्पतालों का कायाकल्प का प्रयास किया जा रहा है. इसके लिए बजट को मल्टीपल किया जा रहा है. चिकित्सक पशुपालकों को पशुओं की बीमारी को लेकर मेंटली काउंसलिंग कर सकते हैं. इससे उनका मर्ज आधा हो जायेगा.
जलवायु परिवर्तन के कारण मौसम का मिजाज बदल रहा है. इसलिए पशुपालन क्षेत्र कृषि का वैकल्पिक व्यवसाय बन सकता है. दशहरा के पहले दुग्ध उत्पादकों को 3 रुपए प्रति किलो की बोनस की राशि उनके खाते में भेजी गयी जिससे लोगों में सरकार के प्रति भरोसा और मजबूत हुआ. जल्द ही 236 पशु एंबुलेंस की शुरुआत होगी. पहले 23 और 66 नया पशु चिकित्सकों की नियुक्ति की गई है. अन्य रिक्तियां भी भरने की प्रक्रिया की जा रही है.

वीडियो कॉल बेस्ड टेलीमेडिसीन की सफलता रिस्पॉन्स पर निर्भर: सचिव

मौके पर अबू बकर ने कहा कि आज के दौर में तकनीक से अपग्रेड रहने की जरूरत है. आज आर्टिफिशियल इंटेलिजेंसी के माध्यम से बड़े बड़े इलाज हो रहे हैं. वीडियो कॉल बेस्ड टेलीमेडिसीन तभी सफल होगा, जब आप कॉल करने वाले को तुरंत रिस्पॉन्स देंगे. व्हाट्सएप कॉल पर संबंधी बीमारी की दवाई बताने की बजाय व्हाट्सएप मैसेज का इस्तेमाल करना ज्यादा उचित होगा. कोई भी दवाई देने के बाद उसका फीड बैक जरूर लें. अगर आप कॉल पर रिस्पॉन्स नहीं देंगे तो यह योजना फेल हो जायेगी.

फेज वार 100-100 अस्पतालों का होगा कायाकल्प

निदेशक आदित्य रंजन ने कार्यक्रम में कहा कि पशुओं के इलाज के लिए राज्य में पहला 24*7 अस्पताल शुरू हुआ है. इसमें डॉक्टर और पैथोलॉजी के जानकार 24 घंटे उपलब्ध रहेंगे. फेज वार राज्य में 100 -100 अस्पताल के कायाकल्प का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. प्रयास है कि सभी पशु चिकित्सालय में आधारभूत संरचना का विकास किया जाय. उपकरण आदि उपलब्ध कराए जाएं। हेसाग के आदर्श हॉस्पिटल में सर्जरी एवं पैथोलॉजी की पूरी व्यवस्था की गई है. उन्होंने दो दिवसीय प्रशिक्षण शिविर के संबंध में बताया कि राज्य में पहली बार दो दिवसीय चिकित्सकों के प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है. इसमें अन्य प्रदेशों से विशेषज्ञों द्वारा ट्रेनिंग दी जाएगी. पहले सिर्फ एक दिन की ट्रेनिंग हुआ करती थी और विशेषज्ञ राज्य के ही हुआ करते थे. टेलीमेडिसीन सेंटर में दो पशु डॉक्टर 24 घंटे उपलब्ध रहेंगे. कार्यक्रम में कई डॉक्टर्स और पशु सखियों ने प्रशिक्षण से जुड़े अनुभव भी साझा किए. साथ ही पांच ऐसे पशु चिकित्सकों को प्रशस्ति पत्र देकर न्यूनतम संसाधन में बेहतर कार्य के लिए सम्मानित किया गया.

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