केंद्र के सहयोग से कृषि कार्यों में होगा ड्रोन का उपयोग, झारखंड में हो रही तैयारी

Ranchi : भारत सरकार देशभर के हजारों महिला स्वयं सहायता समूहों को ड्रोन प्रदान करने जा रही है. कृषि कार्यों के लिए ड्रोन उपलब्ध कराये जायेंगे. पहले चरण में 15 हजार महिला स्वयं सहायता समूहों का गठन होगा, जिन्हें ड्रोन संचालन के लिए प्रशिक्षण भी दिया जायेगा. केंद्र की इस पहल के बाद झारखंड के कृषि विभाग व ग्रामीण विकास विभाग अंतर्गत जेएसएलपीएस के साथ कन्वरजेंस से ड्रोन सेवाएं प्रारंभ की जायेंगी. अधिकारियों ने बताया कि राज्य में अभी 2.83 लाख महिला स्वयं सहायता समूह कार्यरत हैं. इनमें से कुछ का चयन ड्रोन उपलब्ध कराने के लिए होगा इसके अलावा कृषि विभाग अंतर्गत स्वयं सेवा समूहों व महिला किसानों को भी ड्रोन दिया जायेगा. बता दें कि, हाल में ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने झारखंड के खूंटी जिले से बिरसा मुंडा जयंती 15 नवंबर व जनजातीय गौरव दिवस के दिन महिला किसानों को ड्रोन उपलब्ध कराने की घोषणा की थी, जिसके बाद अब इसके क्रियान्वयन पर जोर दिया जा रहा है. भारत सरकार ने झारखंड सहित सभी राज्यों को इसके लिए पत्र भी लिखा है. बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जनजातीय गौरव दिवस के शुभ अवसर पर भगवान बिरसा मुंडा की जयंती के उपलक्ष्य में झारखंड के खूंटी से विकसित भारत संकल्प यात्रा (वीबीएसवाई) का उद्घाटन किया था. केंद्र सरकार की जन कल्याणकारी योजनाओं को जन-जन तक पहुंचाने के लिए राष्ट्रीय स्तर पर शुरू की गई, जो कृषि और संबद्ध गतिविधियों में ड्रोन प्रौद्योगिकी की परिवर्तनकारी शक्ति को प्रदर्शित कर रहा है. वीबीएसवाई, 2.60 लाख से अधिक ग्राम पंचायतों और 4,600+ शहरी स्थानीय निकायों को कवर करने वाला एक विशाल आउटरीच कार्यक्रम है.

ड्रोन का कृषि क्षेत्रों में हो रहा लाभ

देश के सभी कोनों में ड्रोन प्रदर्शनों को कृषक समुदाय, विशेष कर महिला किसानों द्वारा काफी सराहा जा रहा है. केरल से हिमाचल प्रदेश, गुजरात से त्रिपुरा तक ड्रोन प्रदर्शनों के माध्यम से स्पष्ट सन्देश दिया गया कि ड्रोन कृषि में सकारात्मक बदलाव के लिए अत्यंत आवश्यक है. अधिकारियों ने बताया कि लाइव प्रदर्शन में उर्वरकों के संतुलित उपयोग को दशार्या गया, जिसमें अतिरिक्त रासायनिक उर्वरकों का इस्तेमाल नहीं करने पर जोर दिया गया. ड्रोन ने नैनो यूरिया, नैनो डीएपी (डाई-अमोनियम फॉस्फेट) और अन्य सूक्ष्म पोषक उर्वरकों का छिड़काव किया, जो प्रौद्योगिकी द्वारा कृषि क्षेत्र में लाये गये सटीक महत्वपूर्ण परिवर्तनों को दशार्ता है. यही नहीं, ड्रोन द्वारा कीटनाशक छिड़काव के लाइव प्रदर्शन ने प्रभावी कीट प्रबंधन में इस तकनीक के सकारात्मक प्रभावों से जनता को अवगत करवाया. साथ ही तरल उर्वरकों और कीटनाशकों के हवाई छिड़काव के लाइव प्रदर्शन ने एक ऐसी कृषि पद्धति को दशार्या जो कि सीमित समय में अत्यधिक उर्वरकों के उपयोग को नियंत्रित करती है.

इसे भी पढ़ें – 

You May Also Like

More From Author

+ There are no comments

Add yours